राहुल त्रिपाठी: क्रिकेट जुनून से आईपीएल स्टार तक का सफर

राहुल त्रिपाठी का नाम आज भारतीय क्रिकेट में तेजी से उभरता हुआ सितारा है। वह दाएं हाथ के बल्लेबाज हैं जो घरेलू क्रिकेट में महाराष्ट्र का प्रतिनिधित्व करते हैं और इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में अपनी धाक जमा रहे हैं।

राहुल त्रिपाठी: क्रिकेट जुनून से आईपीएल स्टार तक का सफर

राहुल त्रिपाठी का नाम आज भारतीय क्रिकेट में तेजी से उभरता हुआ सितारा है। वह दाएं हाथ के बल्लेबाज हैं जो घरेलू क्रिकेट में महाराष्ट्र का प्रतिनिधित्व करते हैं और इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में अपनी धाक जमा रहे हैं।

प्रारंभिक जीवन और क्रिकेट जुनून

राहुल त्रिपाठी का जन्म 2 मार्च 1991 को रांची, झारखंड में हुआ था।
उनके पिता, कर्नल अजय त्रिपाठी खुद एक पूर्व क्रिकेटर थे और उत्तर प्रदेश की टीम के लिए खेल चुके थे।
बचपन से ही राहुल को क्रिकेट का बेहद शौक था।
रिपोर्ट्स के अनुसार वह सिर्फ 9 साल की उम्र से ही प्लास्टिक की बैट से खेलते थे और उन्हें किसी और खिलौने में दिलचस्पी नहीं थी।


संघर्ष और सफलता :

राहुल के क्रिकेट करियर का रास्ता आसान नहीं था। उन्हें कई चुनौतियों का सामना करना पड़ा।
बीच के समय में उन्हें आईपीएल के लिए नजरअंदाज किए जाने का भी सामना करना पड़ा था।
लेकिन राहुल ने हार नहीं मानी और अपने दृढ़ संकल्प के दम पर वह आईपीएल तक पहुंचे।
आईपीएल करियर:

फरवरी 2017 में, राहुल को राइजिंग पुणे सुपरजायंट्स ने आईपीएल में शामिल किया।
इसके बाद, उन्होंने राजस्थान रॉयल्स और कोलकाता नाइट राइडर्स जैसी टीमों का भी प्रतिनिधित्व किया।
फिलहाल, राहुल सनराइजर्स हैदराबाद के लिए खेल रहे हैं।
आईपीएल में वह अपनी विस्फोटक बल्लेबाजी के लिए जाने जाते हैं।
** रोचक तथ्य:**

राहुल त्रिपाठी मूल रूप से एक इंजीनियर बनना चाहते थे, लेकिन क्रिकेट के प्रति जुनून ने उन्हें खेल की दुनिया में ले आया।
आईपीएल में वह कोलकाता नाइट राइडर्स के लिए खेलते हुए महज 21 गेंदों में अर्धशतक लगाने का कारनामा कर चुके हैं।
निष्कर्ष :

राहुल त्रिपाठी एक ऐसे क्रिकेटर हैं जिन्होंने कड़ी मेहनत और लगन के बल पर खुद को साबित किया है। वह युवा क्रिकेटरों के लिए एक प्रेरणा हैं।
आप सब ने एक कहावत तो जरूर सुनी होगी कि मजबूरी का नाम महात्मा गाधी लेकिन क्रिकेट जगत में एक कहावत और मशहूर होनी चाहिए कि बदनसीबी का नाम राहुल त्रिपाठी व हरियाणा में जो मैंने चेस्ट जो अभी लाइन बोली थी कि बदनसीबी का नाम राहुल त्रिपाठी यह लाइन आज ऑलमोस्ट हर उस इंसान ने बोली है जो क्रिकेट को जानता है पहचानता है और समझता है क्योंकि पिछले कुछ साल में अब जबकि अंडररेटेड नाम का वर्ड क्रिकेट में सुनते
हैं तो एक ही नाम हमारे दिल और दिमाग को दस्तक देता है और वह है राहुल त्रिपाठी और मैं आपको बता रहा हूं कि आज राहुल त्रिपाठी करियर के इस मोड़ पर खड़े हैं आज से सात आठ साल बाद जब वह क्रिकेट छोड़ेंगे तो ऐसी कई वीडियोस बल्क में बनेंगे जो मैं आज बना रहा हूं क्योंकि कहीं ना कहीं हमने क्वालिटी इतना लेट कर दिया है कि अब कभी उनके टैलंट के साथ तकदीर कितना भी साफ कर दे तो भी आने वाले समय में कोई भी उन्हें यह कहने से नहीं रोक पाएगा कि राहुल त्रिपाठी इस वन ऑफ द मोस्ट अंडररेटेड प्लेयर इन क्रिकेट हिस्ट्री पर असल में ऐसा क्यों होगा यह मैं आपको बताता हूं अक्सर सभी के बचपन में ऐसा समय जरूर आता है जब बच्चे को लगने लगता है कि खड़े होकर क्या करना चाहता है और जब भी वह अपने सपने को अपने पिता के सामने रखता है और अगर उस सपने का पढ़ाई से लेना-देना ना हो तो दो ही चीजें होती हैं या तो बच्चे को साफ मना कर दिया जाता है या फिर उसे यह कहा जाता
है कि तुम वह भी साथ में कर सकते हो पर पढ़ाई में कोई कसर नहीं रहने चाहिए और जब यह कहा जाता है तो यहां से उस बच्चे की जिंदगी में दो तरीके के मोड़ आते हैं एक बच्चे होते हैं जो अपने सपने के पीछे नहीं जा पाते क्योंकि उन्हें लगता है कि पढ़ाई के साथ यह होगा नहीं और ज्यादा सपने के पीछे भागे तो पढ़ाई खराब होने से घर वाले वैसे भी यह छुड़वा ही देंगे और दूसरे लोग होते हैं जो घरवालों के इस ऑप्शन को एक चैलेंज समझते हैं और अपने आप से मन ही मन कहते हैं कि चैलेंज एक्सेप्टेड और राहुल त्रिपाठी दूसरे वाले कि बच्चे निकले और यही वजह रही कि वे क्रिकेटर तो बेहतरीन बनेगी पर साथ ही साथ में पढ़ाई में भी टॉप पर रहे और जब उनके पिता ने उनके डिटरमिनेशन को देखा तो वह समझ गए कि राहुल त्रिपाठी नाम का एक बड़ा क्रिकेट रहेगा क्योंकि राहुल के पिता ने खुद यह सपना अपने समय में देखा था पर ज़िम्मेदारी अक्सर सपनों का क़त्ल कर देते हैं और उन्हें खुशी हुई कि उनका बेटा उस सफर में

 


जाने के लिए तैयार था लेकिन आज राहुल त्रिपाठी अपने क्रिकेट करियर के इस मोड़ पर है वह हालात राहुल त्रिपाठी के पिता के उच्च स्टेटमेंट पैक कि उनका बेटा एक दिन बहुत बड़ा क्रिकेटर बनेगा एक बड़ा सवाल दागते हैं क्योंकि किस्मत और हालात में राहुल त्रिपाठी के टैलेंट के साथ जो नाइंसाफी करी है उसने राहुल त्रिपाठी को टॉप क्लास क्रिकेटर या जबरदस्त प्लेयर जैसे टेक्स्ट तो अच्छे से नहीं दिए पर अंडररेटेड क्रिकेटर का नाम जरूर दे दिया मैं बार-बार बार-बार राहुल त्रिपाठी के साथ अंडररेटेड का यूज क्यों कर रहा हूं यह सबसे सही तरीके से वही समझ सकता है जिसने 2017 के आईपीएल सीज़न में राहुल त्रिपाठी को पुणे सुपरजाइंट्स के लिए खेलते हुए देखा होगा यह कि 2016 सीजन में पुणे सुपरजाइंट्स टीम का जो परफॉर्मेंस रहा था वह काफी साधारण था और सबका मानना था कि वह टीम में ऐसा कोई तथा क्यों उन्हें वह स्टार्ट दे पाए तो हर टीम अपने ओपनर से चाहती है लेकिन तभी अगली आईपीएल में मात्र 10 लाख में उठाए गए राहुल त्रिपाठी को पुणे की टीम में शामिल कर आ जाता है और फिर राहुल त्रिपाठी जो खेलते हैं पुणे ही क्या पूरा देश उनकी बैटिंग स्टाइल का दीवाना बन जाता है एकदम बेखौफ होकर बड़े से बड़े व की जो धुलाई उन्होंने करी थी किसी को विश्वास नहीं हो रहा था कि यह प्लेयर आज तक किसी की नजर में क्यों नहीं आया हर मैच में आकर वह इतनी ज़बरदस्त शुरुआत तूने को दे रहे थे जिसकी कामना पुणे तक ने नहीं करी थी और राहुल त्रिपाठी
सिर्फ अच्छा ही नहीं खेल रहे थे बल्कि हर मैच में अच्छा खेल रहे थे उनके द्वारा खेली गई पारियां शुरुआत 10वें ओवर में ही पुणे को मैच में आगे कर दे रही थी और यही वजह रही कि जो पुणे लास्ट सीजन में सेकंड लास्ट आई थी वहीं पुणे आईपीएल में रनअप रहती है क्योंकि वह फाइनल मुंबई से हार जाती है पर राहुल त्रिपाठी का नाम उस आईपीएल में जीत जाता है और हर बंदे को यह लगने लगता है कि प्रभात के बाद अब जाकर कोई ऐसा प्लेयर आया है जिसके पास फिटिंग भी है और कंसिस्टेंसी भी लेकिन उस आईपीएल के बाद त्रिपाठी के साथ कुछ ऐसा होता है कि जो राहुल त्रिपाठी के नाम को अचानक से कहीं गुम सा कर देता है और उनका यह सफर फ्यूचर ऑफ इंडियन क्रिकेट से मोस्ट अंडररेटेड प्लेयर ऑफ इंडियन क्रिकेट की तरफ जाने लगता है और ऐसा कैसे और क्यों होता है वह देखने से पहले मैं बता दूं कि आज होने वाले आईपीएल के दो बहुत बड़े मुकाबले के यार और कुछ राइट आइटम्स और बेंगलुरु वर्सेस हैदराबाद इसलिए हमने तो अपनी गेम सेटिंग बनाते हुए हार्दिक पांडे और पुरे शहर को और दूसरे मैच में डु प्लेसिस और राहुल त्रिपाठी को अपना कैप्टन
और वाइस कैप्टन बना दिया है और आपको लगता है कि आपने है असल क्रिकेट वाला दिमाग जो आपके पॉकेट का टर्नओवर बढ़ा सकता है चले तो 2017 के बाद जब 2018 कि आईपीएल आती है तो सब को यह उम्मीद होती है कि इस आईपीएल उस 10 लाख उठाए गए प्लेयर पर एक बड़ा दांव खेला जाएगा होता भी कुछ ऐसा ही है और उन्हें 3.4 करोड़ उठाया जाता है राजस्थान रॉयल्स द्वारा सब आस लगाए बैठे होते हैं कि इस IPL फिर से राहुल त्रिपाठी राजस्थान के लिए करिश्मा करेंगे पर जहां त्रिपाठी एक शानदार ओपनर की इमेज लेकर टीम में आए थे राजस्थान उन्हें छठे कभी साथ पोजीशन पर भेजने लगती है ना राहुल त्रिपाठी को ना लोगों को यह उम्मीद होती है कि राहुल त्रिपाठी के टैलेंट को इस तरीके से वेस्ट कर आ जाएगा उस पोजीशन पर आकर राहुल त्रिपाठी के पास खुद को प्रूव करने के लिए ना बन सकती हैं ना समय कि वह अपनी क्लास और टैलेंट का प्रदर्शन कर पाएं पर जब भी थोड़ा-बहुत उन्हें मौका मिलता तो
को छोटी-मोटी पारियां खेल अपने पॉइंट को प्रूव करने का स्ट्राइक करते रहते थे पर आखिर 810 मॉल से क्या ही पूरा होने वाला था कुछ मेट्रो में शुरुआती विकेट जल्दी गिरे तो राहुल त्रिपाठी ने कुछ बड़ी पारियां भी खेली पर मसला यही था कि जब तक कोई चीज आंखों के सामने लगातार ना आए तो यहां तो लोग उसे इग्नोर कर देते हैं या फूल जाते हैं 2018 का सीजन पूरा हो गया और राहुल त्रिपाठी का नाम धीरे-धीरे लोगों के दिमाग से गायब होने लगा 2019 का सीजन आया तो फिर जो गिने-चुने लोगों को उनका नाम याद था वह इसी ताक में थे कि क्या इस बार उन्हें ऊपर खेलने का मौका मिलेगा पर इस बार फिर से उन्हें सही पोजीशन पर मौका क्यों नहीं मिला बल्कि कई बार तो उन्हें टीम में तक मौका नहीं दिया गया और सब ने मान लिया कि राहुल त्रिपाठी एक हवा का
झोंका था जो आया तो सबको उड़ा दिया और जैसी वह छोटा निकला उसका वैसे ही शांत हो गया राहुल त्रिपाठी को राजस्थान रॉयल्स से रिलीव कर दिया गया और के हार ने उन्हें इस बार मात्र 60 लाख की प्राइस ही पीछे करा और जहां फिर से लोगों को यह उम्मीद थी कि शायद केयर उनके टैलंट को जस्टिफाइड कर सके तो वहीं के किरदार ने उन्हें पहले तीन मैचों में टीम में मौका तक नहीं दिया और जब दिया तो राहुल त्रिपाठी को भेजा सीधे आठवीं पोजीशन पर लेकिन 2021 सीजन में उनके साथ हालातों ने थोड़ा सा इंसाफ करा और उन्हें उस आईपीएल में कई मैचों में फर्स्ट आऊं भेजा गया और उन्होंने लगभग हर मैच में परफॉर्म करा और कई इंपोर्टेंट कॉन्ट्रिब्यूशन दिए पर के हारने सबसे बड़ी गलती यह करी कि जो राहुल त्रिपाठी उसी जन्म में लगातार तीन के लिए कंट्रीब्यूट कर रहे थे उन्हें ही फाइनल में आठवीं पोजीशन पर भेजा गया और गलती नहीं पाप था इतना बड़ा पाप कि उन्हें आईपीएल ट्रॉफी से हाथ धोना पड़ा पर कहीं ना कहीं राहुल त्रिपाठी ने अपना पॉइंट इस सीज़न प्रूफ कर दिया था और यही नतीजा रहा कि उन्हें इस 2022 सीजन में साढ़े आठ करोड़ की बंपर
प्राइस तो उठाया गया हैदराबाद के द्वारा और इस सीजन भी उन्होंने स्पष्ट आऊं खेल अब तक पांच मैचों में 52 की शानदार औसत 125 रन जड़ दिए हैं पर राहुल त्रिपाठी को खुद को प्रूव करते-करते आज 31 साल हो चुके हैं या अगर हमने उनके टैलेंट को एक्सप्लोइट करने की जगह यूज कर रहा होता तो नतीजा कुछ और नहीं होता क्योंकि अब वह समय दूर नहीं जब उन्हें यह कहकर भारतीय जर्सी के लिए कंसीडर नहीं कर आ जाएगा कि हम फ्यूचर की टीम बना रहे हैं और उम्मीद यही करते हैं कि उनके टैलेंट के साथ थोड़ा सा ही सही पर जस्टिफिकेशन जरूर हो और भविष्य में लोग राहुल त्रिपाठी को सिर्फ आईपीएल हाइलाइट्स में खेलता देखिए ना कहें कि यह कौन है इसे कभी इंडियन टीम में नहीं देखा अगर आप के पास से थोड़ा भी एग्री करते हैं तो यह आज अपने व्हाट्सएप स्टेटस से लेकर हर सोशल मीडिया पर शेयर जरूर करें आपका क्या मानना है कमेंट में धन्यवाद

 


India Vlog
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I am an artist ,Video Editer and Vlogger . मेरा मुख्य कार्य गरीब,असहाय ,जरुरतमंद ,लोगों को सहायता पहुंचाना ? आप सभी के सहयोग से ये काम हम करते हैं । For daily routine of all Indian people with me.. Bhola swarthi. मैं आप को भारत के लोग और भारत के प्राकृति जगह को और स्थान को आप तक पहुँचाने का एक प्रयास कर रहा हूँ इन्टरनेट के माध्यम से आपको हर जगह को और स्थान दिखाने वाले है। भारत के निम्नलिखित जगह: आप को देखने को मिलेगा ।

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